पोस्टमार्टम रिर्पोट में झूठा साबित हुआ बलात्कार का आरोप

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दलित महिला की संदिग्ध मौत का रहस्य गहराया

पैदल चलकर पहुंची थी अस्पताल, पति ने जबरन कराया था रिफर

पवई। रडार न्‍यूज  पन्ना जिले के पवई कस्बा के वार्ड क्रमांक 8 की निवासी दलित महिला की बेहद संदिग्ध परिस्थितियों में हुई मौत का रहस्य गहराता ही जा रहा है। मृतिका का पोस्टमार्टम करने वाले चिकित्सक ने रिर्पोट में बलात्कार या किसी तरह की मारपीट न होने का उल्लेख किया है। इसकी पुष्टी स्वयं पुलिस अधीक्षक रियाज इकबाल ने की है। मृतिका के पति मस्तराम (परिवर्तित नाम) के सनसनीखेज आरोपों के उलट पोस्टमार्टम रिर्पोट आने से जहां कई सवाल उठ रहे हैं। वहीं यह मामला और अधिक पेचीदा हो गया है। गौर करने वाली बात यह है कि पवई में इलाज के दौरान पूर्णतः सामान्य रही महिला की पन्ना आते समय अचानक मौत कैसे हुई। उसकी मौत के लिये आखिरकार कौन जिम्मेदार है। क्या मस्तराम ने अपने विरोधी भोला चौधरी को फंसाने के लिये, पत्नि पूर्णिमा (परिवर्तित नाम) की मौत को लेकर झूठे आरोप लगाये हैं। फिलहाल पुलिस के पास इन सब सवालों का जबाब नहीं हैं। पुलिस के आला अधिकारी मामले की विवेचना पूर्ण होने पर सच्चाई के सामने आने की कह रहे हैं। उधर पत्नि की मौत के बाद मस्तराम द्वारा मीडियाकर्मियों को दी गई जानकारी में पवई पुलिस पर रिर्पोट दर्ज न करने के गंभीर आरोप लगाये थे। इस मामले में पवई थाना पुलिस की घोर लापरवाही उजागर होने पर पुलिस कप्तान रियाज इकबाल ने आज उप निरीक्षक मोहनलाल आठ्या और सहायक उप निरीक्षक एचआर उपाध्याय को प्रथम दृष्टया दोषी मानते हुए तत्काल प्रभाव से लाइन अटैच कर दिया है।

क्या है मामला –

मस्तराम और उसकी पत्नि पूर्णिमा (दोनों परिवर्तित नाम) 5 मई की दोपहर पैदल सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र पवई पहुंचे और वहां पत्नि की साथ मारपीट होने की जानकारी देते हुए मस्तराम द्वारा उसे उपचार हेतु भर्ती कराया गया। डॉक्टर प्रदीप जयंत नें बताया पूर्णिमा को सामान्य चोटें थीं, मध्य रात्रि मस्तराम द्वारा जबरदस्ती दबाब बनाते हुए उसे जिला चिकित्सालय पन्ना के लिये रिफर कराया गया। पवई में इलाज के दौरान मस्तराम ने पत्नि के साथ बलात्कार होने का जिक्र तक नहीं किया। देर रात 108 एम्बुलेंस वाहन से पूर्णिमा को पन्ना लाते समय रास्ते में उसकी रहस्यमय परिस्थितियों में मौत हो गई। अचानक आई दलित महिला की मौत की खबर पर किसी को यकीन इस लिये नहीं हुआ, क्योंकि वह खुद पैदल चल कर एम्बुलेंस में बैठी थी। रविवार 6 मई को पन्ना में जब मस्तराम ने पत्नि की मौत की वजह उसके साथ स्वजातिय पड़ोसी भोला चौधरी पर बलात्कार और मारपीट करने का आरोप लगाया तो पवई के लोग दंग रह गये।

इनका कहना है-

‘‘ मृतिका की शार्ट पोस्टमार्टम रिर्पोट में उसके साथ बलात्कार या मारपीट होने का उल्लेख नहीं हैं। दलित महिला की मृत्यु कैसे हुई और इसके लिये कौन जिम्मेदार है, प्रकरण की विवेचना के बाद स्पष्ट हो जायेगा। इस मामले में लापरवाही बरतने पर एक एसआई और एक एएसआई को लाइन अटैच किया गया है। प्रकरण की प्रारंभिक जांच में यह बात सामने आई है कि मृतिका और उसके पति भोला चौधरी से पुराना विवाद है। ’’

रियाज इकबाल, पुलिस अधीक्षक पन्ना।

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