छतरपुर वन मण्डल में भड़की आक्रोश की आग पन्ना के जंगलों तक पहुंची !

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फाइल फोटो।

*   डीएफओ छतरपुर हटाओ आंदोलन के समर्थन में आए पन्ना के वनकर्मी

*   सामूहिक रूप से अनिश्चित कालीन अवकाश पर गया दक्षिण वन मण्डल पन्ना का मैदानी अमला

*   टाइगर रिजर्व और उत्तर वन मण्डल पन्ना के वनकर्मी भी जा सकते सामूहिक अवकाश पर

शादिक खान, पन्ना। (www.radarnews.in) मध्यप्रदेश के छतरपुर वन मण्डल के विवादित डीएफओ को हटाने की मांग को लेकर जारी आंदोलन लगातार वृहद रूप ले रहा है। छतरपुर वन अमले की डीएफओ हटाओ मुहिम को एक और जहां स्थानीय स्तर व्यापक जन समर्थन मिल रहा है, तो वहीं अपने साथियों पक्ष में एकजुटता प्रदर्शित कर संघर्ष को अधिक मजबूती प्रदान करने पड़ोसी जिला पन्ना के वनकर्मी आंदोलन में कूद पड़े हैं। छतरपुर वन मण्डल के समस्त कर्मचारियों के सामूहिक अवकाश पर जाने के समर्थन में पन्ना के दक्षिण वन मण्डल का मैदानी अमला शनिवार 26 मार्च से सामूहिक रूप से अवकाश पर चला गया।
पन्ना टाइगर रिजर्व एवं उत्तर वन मण्डल पन्ना के वनकर्मी भी जल्द ही सामूहिक रूप से अवकाश लेकर अनिश्चित कालीन हड़ताल पर जा सकते हैं। इसके अलावा दोनों वन मण्डलों (उत्तर-दक्षिण) के समस्त वन परिक्षेत्राधिकारी भी इसी राह पर चल सकते हैं। इन परिस्थितियों जिले दक्षिण वन मण्डल क्षेत्र अंतर्गत वनों एवं वन्य प्राणियों की सुरक्षा को लेकर चिंता और चुनौती काफी बढ़ गई है। अगर यह गतिरोध जल्द ही समाप्त नहीं हुआ तो तेंदूपत्ता का शाखकर्तन कार्य, ग्रीष्म ऋतु में आगजनी की घटनाओं की रोकथाम, बहुमूल्य वन सम्पदा की सुरक्षा कैसे संभव होगी, इसका सहज अनुमान लगाया जा सकता है।
वन वृत्त छतरपुर अंतर्गत आने वाले छतरपुर एवं पन्ना जिले में वनकर्मियों के द्वारा सामूहिक अवकाश लेकर अनिश्चित कालीन हड़ताल पर जाने की स्थिति निर्मित होने लिए राजधानी भोपाल बैठे वरिष्ठ आईएफएस अधिकारियों को सीधे तौर पर जिम्मेदार बताया जा रहा है। मालूम होकि, वन मण्डल छतरपुर में पदस्थ वनमण्डलाधिकारी अनुराग कुमार की कथित दमनकारी कार्यशैली के विरोध स्वरूप मैदानी वन कर्मचारी दिनांक 01 फरवरी 2022 सामूहिक अवकाश पर चले गए थे। इससे पैदा हालात को देखते हुए भोपाल से अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक (प्रशासन-II) ने छतरपुर आकर वनकर्मियों को वापस काम पर लाने के लिए पहल करते हुए भरोसा दिलाया था, डीएफओ अनुराग कुमार का स्थानांतरण करवा दिया जाएगा। उन्होंने मौखिक तौर पर स्पष्ट किया था यदि अनुराग कुमार पुनः प्रभार संभालते हैं तो आप हड़ताल पर जाने के लिए स्वतंत्र रहेंगे। मामला शांत होने पर वनकर्मियों के साथ छलावा करते हुए अनुराग कुमार को दिनांक 21 मार्च 2022 को पुनः पद पर बैठा दिया।

डीएफओ के हटने तक जारी रहेगा अवकाश

विवादित डीएफओ के साथ कथित तौर पर प्रशासन के खड़े होने से वनकर्मियों में जबर्दस्त असंतोष-आक्रोश व्याप्त है। इस निर्णय के विरोध स्वरूप छतरपुर वन मण्डल के मैदानी अमले के हड़ताल पर जाने के कारण लगातार बिगड़ रहे हालात को संभालने के लिए पड़ोसी जिला पन्ना के वनकर्मियों की ड्यूटी वनमण्डल छतरपुर में लगाई जा रही है। मुख्य वन संरक्षक के इस फैसले नाराज दक्षिण वन मण्डल पन्ना के वनकर्मी छतरपुर के अपने साथियों के समर्थन में शनिवार 26 मार्च से सामूहिक अवकाश पर चले गए हैं। वनमण्डलाधिकारी दक्षिण वन मण्डल पन्ना को भेजे गए सामूहिक अवकाश के आवेदन पत्र में वनकर्मियों ने स्पष्ट उल्लेख किया है, वनमण्डलाधिकारी छतरपुर अनुराग कुमार के स्थानांतरण तक वे अवकाश पर जा रहे हैं। इस अवधि में अगर वन सुरक्षा, वन्यप्राणी एवं अग्नि दुर्घटनाएं घटित होती हैं तो उसके लिए शासन-प्रशासन जिम्मेदार होगा।

वृत्त के सभी जिलों के वनकर्मी अवकाश पर जाएंगे

महीप कुमार रावत, जिलाध्यक्ष, वन कर्मचारी संघ, पन्ना।
वन कर्मचारी संघ जिलाध्यक्ष पन्ना महीप कुमार रावत ने बताया कि छतरपुर के अपने साथियों के मान-सम्मान-स्वाभिमान एवं हितों की रक्षा के लिए एकजुटता प्रदर्शित करने के लिए पन्ना टाइगर रिजर्व एवं उत्तर वन मण्डल पन्ना के वनकर्मी से लेकर उप वन क्षेत्रपाल स्तर के सभी मैदानी कर्मचारी दक्षिण वन मण्डल की तरह सामूहिक अवकाश पर जाने का निर्णय शीघ्र ले सकते हैं। श्री रावत ने उम्मीद जताई है, छतरपुर वृत्त अंतर्गत आने वाले सभी जिलों के वनकर्मी बहुत जल्द छतरपुर के अपने साथियों के समर्थन में सामूहिक अवकाश पर जाने का फैसला ले सकते हैं। सभी जिलों के वन कर्मचारी संघ के पदाधिकारी इस दिशा में आवश्यक प्रयास कर रहे हैं। क्योंकि, छतरपुर के प्रकरण को लेकर वृत्त के सभी जिलों का मैदानी वन अमला आहत और आक्रोशित है।