जान से मारने की नियत से हमला करने वाले आरोपियों को 5-5 वर्ष का सश्रम कारावास

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फाइल फोटो।

*     प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश पन्ना ने सुनाया फैसला

पन्ना। (www.radarnews.in) प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश पन्ना कु. भावना साधौ ने शुभम महदेले तनय संतोष सिंह महदेले 21 वर्ष निवासी बेनीसागर मोहल्ला पन्ना को जान से मारने की नियत से हमला करने वाले आरोपीगण मोहित मिश्रा उर्फ महेन्द्र मिश्रा तनय शंकर प्रसाद मिश्रा 23 वर्ष, निवासी आगरा मोहल्ला पन्ना एवं रिजवान राइन पिता रज्जब राइन 24 वर्ष निवासी मोहल्ला कटरा पन्ना को धारा-307 भादंसं के आरोप में दोषसिद्ध पाये जाने पर पॉच-पॉच वर्ष के सश्रम कारावास एवं एक -एक हजार रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया है। और सुजीत महदेले एवं विक्रम महदेले के साथ मारपीट करने के लिए आरोपीगण मोहित मिश्रा उर्फ महेन्द्र मिश्रा एवं रिजवान राइन को धारा-323 (दो काउण्ट) भादंसं के अन्तर्गत 6-6 माह का सश्रम कारावास एवं पॉच-पॉच सौ रूपये प्रत्येक काउण्ट के लिए अर्थदण्ड से दण्डित किया गया।
जिला लोक अभियोजक किशोर श्रीवास्तव ने अभियोजन के अनुसार बताया कि दिनांक 21 मार्च 2019 को दोपहर लगभग 3ः30 बजे के करीब बेनीसागर तालाब के नीचे दिवाला के सामने बेनीसागर मोहल्ला में शुभम महदेले के साथ वाद-विवाद होने पर आरोपी मोहित उर्फ महेन्द्र एवं रिजवान ने एक राय होकर लोहे के पाइप से हमला किया था। जिससे घायल शुभम के सिर के नाजुक जगह पर प्राणघातक चोटें आईं थी। शुभम को बचाने आये आहत सुजीत और विक्रम के साथ भी आरोपीगण द्वारा मारपीट की गई। शुभम की चोटें गम्भीर प्रकृति की होने से उसे पन्ना जिला चिकित्सालय से उच्च स्थान पर इलाज हेतु रिफर कर दिया गया। जिस पर आहत का इलाज ऐपेक्स हॉस्पिटल जबलपुर में वरिष्ठ न्यूरो सर्जन डॉ. सुबोध दरवारी द्वारा किया गया। आहत की चोटें गम्भीर होने से वह कई दिनों तक जबलपुर में इलाजरत रहा। जानलेवा हमले के बाद जब शुभम को जिला चिकित्सालय पन्ना लाया गया वहां पर उसके द्वारा देहाती नालिश लेख होने के उपरांत पुलिस थाना कोतवाली पन्ना में अपराध की कायमी अपराध क्रमांक-210/2019 में लेख की गई और विवेचना उपरान्त चालान न्यायायलय के समक्ष प्रस्तुत किया गया।
अभियोजन की ओर से न्यायालय के समक्ष अभियोजन साक्षियों के कथन कराये गये। न्यायालय द्वारा अभियोजन के द्वारा प्रस्तुत साक्षी एवं आहत शुभम के सिर की घातक चोट, समग्र साक्ष्य तथा अभियोजन के द्वारा प्रस्तुत प्रभावी तर्कों से सहमत होकर अभियोजन का प्रकरण युक्ति-युक्त संदेह से परे माना। प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश कु. भावना साधौ ने प्रकरण में निर्णय पारित करते हुए आरोपीगण मोहित मिश्रा उर्फ महेन्द्र मिश्रा एवं रिजवान राइन धारा-307 भादंसं के अन्तर्गत आरोप में दोषसिद्ध पाये जाने तथा सुजीत महदेले एवं विक्रम महदेले के साथ मारपीट करने लिए इन्हीं दोनों आरोपियों को दोषी मानकर सश्रम कारावास और अर्थदण्ड दण्डित से किया गया है। अभियोजन की ओर से इस मामले में किशोर श्रीवास्तव जिला लोक अभियोजक ने पैरवी की।