* पन्ना टाइगर रिजर्व के रेंजर व चौकीदार की सरकारी आवास में की गई थी जघन्य हत्या
* बहुचर्चित दोहरे हत्याकाण्ड में विशेष न्यायाधीश पन्ना ने सुनाया ऐतिहासिक फैसला
पन्ना। (www.radarnews.in) मध्यप्रदेश के पन्ना जिले के मड़ला थाना अंतर्गत हिनौता (मझगवां) ग्राम में पन्ना टाइगर रिजर्व की गहरी घाट रेंज के वन परिक्षेत्राधिकारी एवं उनके चौकीदार की जघन्य हत्या के बहुचर्चित प्रकरण में सात साल बाद न्यायालय का फैसला आया है। विशेष न्यायाधीश पन्ना आर.पी.सोनकर ने प्रकरण के 3 आरोपितों अमजद खान, बब्लू उर्फ गनेश जाटव एवं शेख सलमान उर्फ़ अनमोल को दोहरे हत्याकाण्ड का दोषी करार देते हुए दोहरे आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही कोर्ट ने जुर्माना भी लगाया है। हिनौता-मझगवां में स्थित सरकारी आवास में रेंजर जुबान सिंह और उनका चौकीदार प्यारेलाल वर्मन जब गहरी नींद में सोए हुए थे तब अभियुक्तों ने उनकी हत्या कर दी थी। वर्ष 2014 में हुए इस सनसनीखेज जघन्य हत्याकाण्ड पर आए न्यायालय के ऐतिहासिक फैसले की सर्वत्र चर्चा हो रही है।
सहायक जिला लोक अभियोजन अधिकारी ऋषिकांत द्विवेदी ने बताया ने अभियोजन के मामले की जानकारी देते हुए बताया दिनांक 11 जुलाई 2014 की सुबह 8 बजे कदम सिंह बल्द सरजू प्रसाद यादव आकस्मिक श्रमिक परिक्षेत्र कार्यालय गहरी घाट कार्यालय की चाबी लेने के लिए रेंजर के सरकारी आवास पर गया था। रेंजर साहब को आवाज लगाने पर कोई उत्तर न मिलने पर कदम सिंह यादव पीछे का फाटक खोलकर छत पर गया तो वहां पर चौकीदार प्यारेलाल वर्मन छत पर खून से लथपथ सिर में कंबल से ढका हुआ मृत अवस्था में पड़ा था। इससे घबराकर चौकीदार कदम सिंह परिक्षेत्र सहायक बड़गड़ी आर.के. त्रिपाठी के पास गया घटनाक्रम की जानकारी दी गई।
इसके बाद श्री त्रिपाठी द्वारा सहायक संचालक मड़ला को फोन से घटना की जानकारी दी। बाद में दोनों लोग जुबान सिंह रेंजर के घर गये, उन्होनें चौकीदार प्यारेलाल को मृत अवस्था में देखा और जुबान सिंह रेंजर के बेडरूम में गये तो वहां खून के धब्बे पड़े थे। उसी कमरे के बाथरूम में रेंजर जुबान सिंह खून से लथपथ मृत अवस्था में औंधे पड़े थे। चौकीदार कदम सिंह के द्वारा पुलिस चौकी मझगवां में जाकर घटना की रिपोर्ट की गयी। इस सनसनीखेज हत्याकाण्ड पर थाना मड़ला में अपराध क्रमांक 17/14 पर धारा 460, 302 सहपठित धारा 34 का अपराध कायम किया गया।
इस प्रकरण का विचारण माननीय न्यायालय विशेष न्यायाधीश आर.पी.सोनकर पन्ना के न्यायालय में हुआ। जिला लोक अभियोजन अधिकारी के मार्गदर्शन में शासन की ओर से प्रकरण की पैरवी जीतेन्द्र बैस, विशेष लोक अभियोजक,पन्ना द्वारा करते हुये न्यायालय के समक्ष अभियोजन साक्षियों के साक्ष्य को बिन्दुवार तरीके से न्यायालय के समक्ष अभिलिखित कराकर आरोपीगण के विरूद्ध अपराध संदेह से परे प्रमाणित किया गया। साथ ही आरोपीगण के किए गए कृत्य को गंभीरतम श्रेणी का अपराध मानते हुये अधिक से अधिक दंड से दंडित किये जाने का निवेदन किया गया।
न्यायालय द्वारा अभिलेख पर आये साक्ष्यों, अभियोजन के तर्कों तथा न्यायिक-दृष्टांतो से सहमत होते हुए अभियुक्त अमजद खान उर्फ अहमद खां पुत्र युसुफ खाँ 29 वर्ष निवासी पन्ना, बब्लू उर्फ गनेश (गणेश) जाटव पुत्र राम सिह जाटव 38 वर्ष निवासी छतरपुर, एवं शेख सलमान उर्फ अनमोल उर्फ समीर पिता शेख कबूल 32 वर्ष निवासी पन्ना को धारा 302 सहपठित धारा 34 (दो काउंट) भा.द.वि. में दोषी मानते हुये दोहरे आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। वहीं अभियुक्तों पर 5-5 हजार रूपये के अर्थदण्ड एवं धारा 3(2)(पांच) एससीएसटी एक्ट में आजीवन कारावास एवं 5-5 हजार रूपये के अर्थदण्ड से एवं धारा 460 भा.द.वि. में 10-10 वर्ष का कठोर कारावास एवं 5-5 हजार रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया गया है।