प्रभारी मंत्री इंदर सिंह को पवई विधायक ने जमकर सुनाया, बैठक का किया बहिष्कार

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इन्दर सिंह परमार प्रभारी मंत्री जिला पन्ना एवं पवई विधायक प्रहलाद लोधी।

वनरक्षक का स्थानांतरण आदेश निरस्त होने पर निकाला गुस्सा

 पूछा सवाल- मेरी विधानसभा अब क्या छुटभैये नेता चलाएंगे

 विधायक प्रहलाद लोधी के बेहद तल्ख़ तेवरों के चलते समीक्षा बैठक में कुछ देर तक खिंचा रहा सनाका

शादिक खान, पन्ना। (www.radarnews.in) मध्य प्रदेश शासन के उच्च शिक्षा एवं तकनीकी शिक्षा मंत्री तथा पन्ना जिले के प्रभारी मंत्री इंदर सिंह परमार को विभागीय कार्यों की समीक्षा बैठक के दौरान रविवार को बेहद असहज और अप्रिय स्थिति का सामना करना पड़ा। प्रभारी मंत्री पर पवई विधायक प्रहलाद लोधी ने अपना गुस्सा निकालते हुए जमकर खरी-खोटी सुनाई। विधायक अपने निर्वाचन क्षेत्र में पदस्थ एक वनरक्षक का तबदला निरस्त किए जाने के कारण सख्त नाराज थे। अपनी उपेक्षा का आरोप लगाते हुए विधायक बैठक छोड़कर बाहर चले गए। प्रभारी मंत्री ने उन्हें रोकने का प्रयास किया लेकिन वे नहीं माने। बैठक के बहिष्कार से पहले विधायक ने जिला पंचायत सीईओ को भी ग़जब हड़काया। इस अप्रत्याशित घटनाक्रम के चलते बैठक में कुछ देर तक सनाका खिंचा रहा। नाराज़ पवई विधायक के बैठक छोड़कर जाने को सत्तारूढ़ दल भाजपा के अंदर मची जबरदस्त खींचतान-घमासान के सतह पर आने के संकेत के तौर पर देखा जा रहा है। यह मामला जिले के राजनैतिक, प्रशासनिक हलकों समेत आमजन के बीच चर्चा का विषय बना है।
पन्ना के कलेक्ट्रेट स्थित सभागार में विभागीय समीक्षा बैठक लेते प्रभारी मंत्री इन्दर सिंह परमार।
रविवार 17 अगस्त 2025 को पन्ना के कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में प्रदेश के उच्च शिक्षा, तकनीकी शिक्षा एवं आयुष मंत्री तथा पन्ना जिले के प्रभारी मंत्री इन्दर सिंह परमार की अध्यक्षता में विभागीय समीक्षा बैठक आयोजित हुई। बैठक शुरू होने से पहले स्वागत की औपचारिकता चल रही थी तभी पवई विधायक प्रहलाद बैठक में शामिल होने पहुंचे। अधिकारियों ने विधायक का स्वागत करने का अनाउंस किया तो विधायक ने उन्हें रोक दिया। अपनी पीड़ा और गुस्सा जाहिर करते हुए वे बोले- जब मेरी बात नहीं सुनीं जाती तो मैं किस बात का विधायक? मंत्री से मुखातिब होते कहा जब हमारा कोई काम नहीं होता तो इन बैठकों का क्या औचित्य है। दक्षिण वन मण्डल पन्ना के एक वनरक्षक का स्थानांतरण निरस्त किए जाने से नाराज विधायक प्रहलाद ने मंत्री जी को उलाहना देते हुए कहा आपने मुझसे एक बार भी पूंछना उचित नहीं समझा। मेरे अपने निर्वाचन क्षेत्र से जुड़े मामलों क्या मेरा कोई दखल नहीं? माहौल को सामान्य करने के लिए प्रभारी मंत्री इन्दर सिंह ने विधायक से बैठक के बाद अलग से चर्चा करने की बात कही। इस पर विधायक ने तल्ख़ लहजे में कहा मेरे पास अलग से चर्चा करने का समय नहीं है। विधायक ने अपने निर्वाचन क्षेत्र में अनुचित हस्तक्षेप और अपनी उपेक्षा पर कड़ी आपत्ति जताते हुए दो टूक शब्दों में कहा जब तक मैं हूं, तब तक मेरी विधानसभा को कोई दूसरा व्यक्ति नहीं चलाएगा। अब क्या छुटभैये नेता मेरी विधानसभा में नेतागिरी करेंगे? विधायक प्रहलाद लोधी यहीं नहीं रुके। उन्होंने हाल ही में हुए पंचायत सचिवों एवं रोजगार सहायकों के स्थानांतरण को लेकर भी अपनी नाराजगी जताई। और जिला पंचायत सीईओ को जमकर हड़काया।
प्रभारी मंत्री इन्दर सिंह परमार ने पवई विधायक को शांत कराने की कोशिश करते हुए उनसे बैठ जाने का आग्रह किया लेकिन प्रहलाद नहीं माने। विधायक इतना तेज गुस्से में थे कि उन्होंने मंत्री की बात ही नहीं सुनीं। अपनी उपेक्षा और अपमान का आरोप लगाते हुए वे बैठक का बहिष्कार कर बाहर निकल गए। इस दौरान मंत्री श्री परमार ने उन्हें रोकने का प्रयास किया लेकिन पवई विधायक प्रहलाद लोधी नहीं रुके। सूत्र बताते हैं कि पवई एवं पन्ना के कतिपय भाजपा नेता पवई विधानसभा क्षेत्र में काफी समय से दखल दे रहे थे। जाहिर है यह सब विधायक प्रहलाद को नागवार गुजरने के साथ उनके गुस्से को बढ़ा रहा था। रविवार को आख़िरकार प्रभारी मंत्री इन्दर सिंह के सामने उनका गुस्सा फूट पड़ा। समीक्षा बैठक के दौरान विधायक श्री लोधी द्वारा खुलकर अपनी नाराजगी जाहिर करने से प्रभारी मंत्री श्री परमार को अपमानजनक स्थिति का सामना करना पड़ा। बैठक छोड़कर बाहर निकलने के बाद पवई विधायक पन्ना में आयोजित रानी अवंती बाई के कार्यक्रम में शामिल हुए। बता दें कि भाजपा जिलाध्यक्ष पन्ना बृजेन्द्र मिश्रा ने पवई विधायक द्वारा प्रभारी मंत्री की समीक्षा बैठक का बहिष्कार करने की ख़बरों ख़ारिज करते हुए बताया कि उन्हें कुछ शारीरिक समस्या थी इसलिए उन्हें बैठक से जाना पड़ा।

विधायक के गुस्से की ये है वजह

प्राप्त जानकारी अनुसार हाल ही में जिला स्तर पर हुए स्थानांतरण के दौरान दक्षिण वन मण्डल पन्ना के वन परिक्षेत्र पवई में पदस्थ वनरक्षक चेतन अहिरवार का स्थानांतरण हुआ था। जिसे लेकर चर्चा है कि वनरक्षक का स्थानांतरण विधायक ने ही करवाया था। कुछ दिन बाद वनरक्षक का तबादला आदेश प्रभारी मंत्री इंदर सिंह परमार ने निरस्त कर दिया। वनरक्षक का स्थानांतरण पन्ना टाइगर रिजर्व या उत्तर वन मण्डल में करने का पुनः प्रस्ताव भेजा गया। लेकिन उस प्रस्ताव पर अमल होने के बजाए असहमति की टीप अंकित कर दी गई। जिससे विधायक का नाराज होना स्वाभाविक था। कथित तौर पर विधायक द्वारा कराए गए वनरक्षक के स्थानांतरण को पवई क्षेत्र के ही एक बीजेपी नेता ने निरस्त कराने में अहम भूमिका निभाई थी। पवई विधायक ने इसे अपने अपमान के तौर पर लिया। उन्हें लगा जब मैं अपने ही क्षेत्र के एक वनरक्षक स्थानांतरण नहीं करा सकता तो इससे बड़ी उपेक्षा और क्या होगी। प्रभारी मंत्री इन्दर सिंह परमार द्वारा भोपाल में बैठकर जिले के स्थानांतरण करने से भी विधायक प्रहलाद लोधी नाराज चल रहे थे। रविवार को पन्ना में आयोजित बैठक में बैठक में प्रभारी मंत्री श्री सिंह से जब पवई विधायक की मुलाकात हुई तो वे गुस्से से फट पड़े। खबर के संबंध में जब पवई विधायक से सम्पर्क करने का प्रयास किया तो उनका मोबाइल फोन बंद था।