* मध्य प्रदेश के पन्ना जिले की चर्चित अजयगढ़ तहसील की घटना
* आपराधिक पृष्ठभूमि वाले युवा नेता के खिलाफ एफआईआर दर्ज
* आरोपी की गिरफ्तारी में देरी के कारण कर्मचारी संगठनों में आक्रोश
* पूर्व में सार्वजनकि तौर पर अवैध कट्टा लहराते हुए आरोपी का वीडियो हुआ था वायरल
पन्ना। (www.radarnews.in) अपने कार्यकर्ताओं देवतुल्य बताने वाली भारतीय जनता पार्टी की यूथ विंग के एक पदाधिकारी ने जिले के अजयगढ़ तहसील कार्यालय में जमकर उत्पात मचाया। नशे के डबल डोज़ (सत्ता और शराब) से चूर युवा नेता अंकित मिश्रा उर्फ़ कुलदीप ने नायब तहसीलदार के कक्ष में घुसकर शासकीय कार्य में बाधा डालते हुए सरकारी फाइलें फेंक दी। मना करने पर बौखलाए आपराधिक पृष्ठ्भूमि वाले युवा नेता ने कथित तौर अनुसूचित जाति की महिला अधिकारी को गाली-गलौज करते हुए जातिसूचक शब्दों से अपमानित किया। साथ ही जान से मारने और पूर्व तहसीलदार की तरह लोकायुक्त पुलिस के प्रकरण में फंसाने की धमकी भी दी। नायब तहसीलदार संगीता अहिरवार की लिखित शिकायत मिलने पर पुलिस ने प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए आरोपी युवक के विरुद्ध तत्परता से आपराधिक मामला पंजीबद्ध कर लिया है। हैरान करने वाले इस घटनाक्रम की खबर फैलने के बाद से अधिकारी-कर्मचारी संगठनों समेत अनुसूचित जाति वर्ग के लोगों में गहरा रोष व्याप्त है।
पार्टी विद द डिफरैंस कहलाने वाली भाजपा को लोकसभा चुनाव 2024 के बीच हाल ही में मध्य प्रदेश के पन्ना जिले में अपने दो नेताओं के कृत्यों की वजह से काफी शर्मसार होना पड़ा है। पहला मामला सर्वविदित है। कुछ दिन पूर्व दमोह जिले के हटा से भाजपा विधायक उमा खटीक की बेटी सारिका खटीक को लोकायुक्त पुलिस सागर की टीम ने 30,000/- (तीस हजार) रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ पकड़ा था। सारिका, नगर परिषद अमानगंज जिला पन्ना की अध्यक्ष एवं भाजपा नेत्री है। बहुचर्चित रिश्वत कांड की सबसे महत्वपूर्ण यह रही कि, सारिका खटीक के विरुद्ध बीजेपी के ही स्थानीय युवा नेता राघवेंद्र राज मोदी की शिकायत पर लोकायुक्त पुलिस द्वारा ट्रैप कार्यवाही की गई थी। शिकायत के अनुसार, अमानगंज नगर परिषद अध्यक्ष ने मैन लिफ्ट क्रेन के मासिक बिल भुगतान के एवज में राघवेंद्र से रिश्वत मांगी थी। दूसरा प्रकरण जिले अजयगढ़ क़स्बा का है। महिला नायब तहसीलदार अजयगढ़ ने भारतीय जनता युवा मोर्चा के अजयगढ़ मंडल उपाध्यक्ष अंकित उर्फ़ मिश्रा उर्फ़ कुलदीप पर बेहद संगीन आरोप लगाए हैं।
अनुसूचित जाति से आने वाली नायब तहसीलदार संगीता अहिरवार की ओर से थाना में दर्ज कराई गई रिपोर्ट में बताया गया है कि, दिनांक 30 अप्रैल की शाम लगभग 4.30 बजे वह अपने कार्यालय में बैठकर न्यायालयीन कार्य कर रही थी। तभी अंकित उर्फ़ मिश्रा उर्फ़ कुलदीप निवासी माधौगंज अजयगढ़ शराब के नशे में धुत होकर आया और अभद्र भाषा का प्रयोग करते हुए ईडब्ल्यूएस (EWS) का आदेश तुरंत बनाने का दबाव डालने लगा। नायब तहसीलदार ने उससे पूंछा की आप कौन है, आवेदक हैं या फिर अन्य किसी का आदेश बनना है? कुलदीप ने बताया उसके रिश्तेदार का आदेश बनना है। लेकिन जब रिश्तेदार का नाम पूंछा गया तो वह अचानक भड़क उठा।
न्यायालय की डाइस पर हाथ पटकते हुए नेता जी वहां रखीं सरकारी फाइलें-रजिस्टर छीनकर यहां-वहां फेंकने लगे। महिला अधिकारी के मना करने पर बौखलाए भाजयुमो नेता कुलदीप ने मर्यादा लांघते हुए उन्हें मां-बहिन की गालियां दी और जातिसूचक शब्द कहकर अपमानित किया। आपराधिक पृष्ठभूमि वाले दबंग युवा नेता ने नायब तहसीलदार को धमकाते हुए कहा, मैं जो काम लेकर आऊं या फिर मेरे नाम से कोई भी काम लेकर आता है, उसे तत्काल किया करो नहीं तो जान से ख़त्म कर दूंगा। मौके पर मौजूद राघवेंद्र सिंह कम्प्यूटर ऑपरेटर व चालक रमेश कुमार अहिरवार ने हस्तक्षेप करते हुए युवा नेता को समझाया। तब कुलदीप ने जाते हुए नायब तहसीलदार को पुनः धमकाया। दबंग ने वरिष्ठ अधिकारियों से उनकी शिकायत करने तथा पूर्व तहसीलदार की तरह लोकायुक्त पुलिस के प्रकरण में फंसाने की बात कही।
अजयगढ़ थाना पुलिस ने नायब तहसीलदार अजयगढ़ संगीता अहिरवार के लिखित आवेदन पत्र पर भाजयुमो नेता (BJYM) अंकित उर्फ़ मिश्रा उर्फ़ कुलदीप के विरुद्ध धारा 294, 506, 353, 186 ताहि एवं एससीएसटी एक्ट के तहत आपराधिक प्रकरण पंजीबद्ध कर मामले को जांच में लिया है। इस घटनाक्रम के बाद से पीड़ित महिला अधिकारी अत्यंत ही भयभीत बताई जा रहीं है। क्योंकि, घटना के सप्ताह भर बाद आरोपी फरार है। आपराधिक पृष्ठभूमि वाले दबंग आरोपी के विरुद्ध पूर्व से कई प्रकरण पंजीबद्ध है। जन चर्चाओं के अनुसार कुलदीप पूर्व में कुछ माह दिल्ली की तिहाड़ जेल में न्यायिक अभिरक्षा में निरुद्ध रहा है।
पूर्व में आरोपी का सार्वजानिक तौर पर अवैध कट्टा लहराते हुए वीडियो भी वायरल हुआ था। बता दें कि, भाजयुमो से जुड़ने से पूर्व कुलदीप को अजयगढ़ के एक कांग्रेस नेता के साथ अक्सर देखा जाता था। बाद में वह कथित तौर पर सत्ता का संरक्षण पाने के लिए भारतीय जनता पार्टी की युवा शाखा से जुड़ गया। जहां राजनैतिक रसूख बढ़ने के साथ उसकी गुंडई भी लगातार बढ़ती चली गई। देखते ही देखते वह भाजपा के बड़े नेताओं का करीबी बन बैठा। फलस्वरूप हालिया गंभीर घटना के सप्ताह भर बाद भी आरोपी की गिरफ़्तारी न होने से अजयगढ़ थाना पुलिस पर प्रत्यक्ष-परोक्ष तौर पर राजनैतिक दबाव हावी होने की चर्चाओं बल मिल रहा है।
इनका कहना है-
“महिला नायब तहसीलदार के साथ अभद्रता करने एवं शासकीय कार्य में बाधा डालने वाले आरोपी को जल्द से जल्द गिरफ्तार किया जाएगा। आरोपी की आपराधिक गतिविधियों पर प्रभावी अंकुश लगाने के लिए भी नियमानुसार आवश्यक कार्यवाही की जाएगी।”
साईं कृष्णा थोटा, पुलिस अधीक्षक, जिला पन्ना (म.प्र.) ।