बच्चों को पढ़ाने में कमजोर हैं जो शिक्षक उन्हें दी जा रही अनिवार्य सेवानिवृत्ति : मंत्री प्रभुराम

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* प्रभारी मंत्री ने देवेन्द्रनगर तहसील के नवीन भवन का किया लोकार्पण

पन्ना। (www.radarnews.in) प्रदेश के स्कूल शिक्षा विभाग मंत्री एवं जिले के प्रभारी मंत्री डाॅ. प्रभुराम चौधरी दो दिवसीय प्रवास पर पन्ना आए। उन्होंने पन्ना प्रवास का शुभारंभ देवेन्द्रनगर तहसील कार्यालय के नवीन भवन के लोकार्पण से किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा जनकल्याण की अनेक योजनाएं संचालित की जा रही हैं। वहीं शिक्षा में सुधार के लिए गुणवत्तायुक्त शिक्षा के लिए निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने जनप्रतिनिधियों से अपेक्षा करते हुए कहा कि सभी जनप्रतिनिधि स्कूल गोद लें और जिस स्कूल को वह गोद लें उसका निरीक्षण निरंतर करते हुए शिक्षा की गुणवत्ता को जाने। पठन-पाठन के स्तर में सुधार के प्रयास करें।
प्रभारी मंत्री डॉ. प्रभुराम चौधरी ने ने देवेन्द्रनगर में 52.56 लाख रूपये की लागत से नवनिर्मित तहसील कार्यालय भवन का लोकार्पण वैदिक रीति से पूजन करने के उपरांत नामपट्टिका अनावरण एवं फीता काटकर किया। इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम का शुभारंभ राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के चित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्ज्वलन कर किया गया। इस अवसर पर उन्होंने उपस्थितों को सम्बोधित करते हुए कहा कि किसानों की कर्ज माफी योजना के तहत अब तक लगभग 21 लाख किसानों को लाभान्वित किया जा चुका है। आगामी दिनों में 12 लाख अन्य नये किसानोें को कर्ज मुक्ति का लाभ दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश में विद्युत की 100 यूनिट तक खपत होने पर 100 रूपये तथा किसानों की विद्युत खपत का आधा बिल कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के बेरोजगारों को प्रशिक्षित कर रोजगार स्थापित कराए जा रहे हैं। जिस तरह किसानों को खर्ज माफी योजना का लाभ दिया गया है। इसी तरह आदिवासी भाईयों को साहूकारों के कर्ज से मुक्ति दिलाई गयी है। मुख्यमंत्री कन्यादान/निकाह योजना की राशि को बढाकर 51 हजार रूपये कर दिया गया है।
प्रभारी मंत्री डॉ. प्रभुराम चौधरी ने कहा कि प्रदेश में गुणवत्तायुक्त शिक्षा व्यवस्था के लिए माता-पिता एवं शिक्षकों की बैठक प्रत्येक विद्यालय में कराए जाने की व्यवस्था सुनिश्चित की गयी है। वहीं कक्षा 5वीं एवं 8वीं की परीक्षाएं बोर्ड परीक्षाओं की तर्ज पर लिए जाने का निर्णय लिया गया है। अच्छी शिक्षा एवं शिक्षित होकर बच्चे विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओें में सफल हो सके इसके लिए नवीन एनसीआरटी पाठ्यक्रम लागू किया गया है। उन्होंने कहा कि हमारा यह प्रयास है कि हमारा प्रदेश शिक्षा के क्षेत्र में देश में पहला स्थान हासिल करे। इसके लिए प्रयास किए जा रहे हैं। प्रदेश के शिक्षकों को शैक्षणिक व्यवस्था के अवलोकन के लिए दिल्ली एवं साउथ कोरिया भेजा गया था। शिक्षकों के शैक्षणिक स्तर में सुधार लाने के लिए प्रशिक्षण परीक्षाएं ली जा रही है। जिन शिक्षकों का स्तर बच्चों को पढ़ाने योग्य नहीं है उन्हें अनिवार्य सेवानिवृत्त दी जा रही है। बच्चों के पठन-पाठन स्तर की जांच कर पढाई में कमजोर बच्चों को नियमित क्लास के अलावा पृथक से पढाने की व्यवस्था की गयी है।