* मारपीट के प्रकरण में धाराएं बढ़ाने के लिए मांगी थी रिश्वत
* पन्ना जिले के सिमरिया थाना की पुलिस चौकी हरदुआ का मामला
* महीने भर में लोकायुक्त पुलिस की दूसरी बड़ी ट्रैप कार्रवाई से मचा हड़कंप
शादिक खान, पन्ना/वहीद खान, हरदुआ (www.radarnews.in) भ्रष्टाचारियों और घूसखोरों का चारागाह बने मध्यप्रदेश के अति पिछड़े पन्ना जिले में लोकायुक्त पुलिस संगठन ने आज बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया है। यहां के सिमरिया थाना अंतर्गत आने वाली दूरस्थ पुलिस चौकी हरदुआ के प्रभारी उप निरीक्षक हरिराम उपाध्याय को 20 हजार रुपये की रिश्वत लेते हुए लोकायुक्त पुलिस सागर की टीम ने रंगे हाथ गिरफ्तार किया है। मारपीट के मामले में धाराएं बढ़ाने और आरोपीगणों को गिरफ्तार करने के एवज में पीड़ित व्यक्ति से चौकी प्रभारी के द्वारा रिश्वत की मांग की गई थी। महीने भर के अंतराल में जिले में लोकायुक्त पुलिस की यह दूसरी बड़ी ट्रैप कार्रवाई है। जिससे रिश्वतखोर अधिकारियों-कर्मचारियों धड़कनें तेज़ हो गईं हैं, किसी दिन उनका भी यही हाल हो सकता है, यह बात सोच-सोचकर कड़ाके की इस सर्दी में भ्रष्टाचारियों के पसीने छूट रहे हैं।
प्राप्त जानकारी अनुसार भज्जू अहिरवार पिता खिलाइयां अहिरवार 60 वर्ष निवासी हरदुआ का दिनांक 31 अक्टूबर 2022 को धान के खेत में चर रहीं भैंसों को हांकने को लेकर विवाद हो गया था। इस विवाद पर गांव के ही कुछ स्वजातीय लोगों द्वारा भज्जू अहिरवार के साथ गालीं-गलौज और मारपीट की गई थी। जिसकी रिपोर्ट पीड़ित वृद्ध ने घटना दिनांक को ही पुलिस चौकी हरदुआ में लिखाई थी। दिनांक 1 नवंबर को हरदुआ चौकी के द्वारा प्रस्तुत देहाती नालसी पर थाना सिमरिया में आरोपियों के विरुद्ध असल नंबर पर धारा 294, 323, 506, 34 आईपीसी के तहत अपराध पंजीबद्ध किया गया था। जिसमें हरदुआ चौकी प्रभारी एवं उप निरीक्षक हरिराम उपाध्याय के द्वारा फरियादी भज्जू से मामले में धाराएं बढ़ाने और आरोपीगणों को गिरफ्तार करने के एवज में 20 हजार रुपए की मांग की गई। घूस लेने के लिए चौकी प्रभारी महीने भर से आरोपियों के विरुद्ध कार्रवाई न कर सिर्फ कोरे आश्वासन दे रहे थे। जिससे परेशान होकर दलित किसान ने दिनांक 2 दिसंबर 2022 को पुलिस अधीक्षक लोकायुक्त सागर से लिखित शिकायत की थी। रिश्वत की मांग संबंधी शिकायत का सत्यापन करने के बाद भ्रष्ट सब इंस्पेक्टर को रंगे पकड़ने की योजना बनाई गई।
चौकी प्रभारी के खिलाफ प्रकरण दर्ज
प्लान के अनुसार सोमवार 5 दिसम्बर को दोपहर के समय भज्जू अहिरवार ने हरदुआ चौकी पहुंचकर वहां मौजूद चौकी प्रभारी हरिराम उपाध्याय को जैसे ही रिश्वत की राशि के रूप में कैमिकल युक्त नोट सौंपें तभी अगले ही पल लोकायुक्त पुलिस की टीम ने दबिश देकर उन्हें रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। ट्रैप कार्रवाई का नेतृत्व करने वालीं लोकायुक्त पुलिस इंस्पेक्टर मंजू सिंह ने बताया कि फरियादी भज्जू अहिरवार की शिकायत पर पुलिस चौकी हरदुआ के प्रभारी सब इंस्पेक्टर हरिराम उपाध्याय को 20 हजार रुपये की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार किया गया है। उनके खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत प्रकरण पंजीबद्ध कर मामले को विवेचना में लिया है।
घूसखोर हैं कि मानते ही नहीं
पन्ना के दूरस्थ इलाके में हुई इस ट्रैप कार्रवाई की खबर आने के बाद से ही जिला मुख्यालय स्थित प्रशासनिक हलकों और पुलिस महकमे में जबरदस्त हड़कंप मचा है। क्योंकि बमुश्किल महीने भर पहले पन्ना में लोक निर्माण विभाग के उपयंत्री मनोज रिछारिया को ठेकेदार से 7 लाख रुपये की रिश्वत लेते हुए लोकायुक्त पुलिस सागर की टीम ने पकड़ा था। हालांकि लंबे समय बाद कोई पुलिस अधिकारी घूसखोरी के मामले में लोकायुक्त पुलिस संगठन की गिरफ्त में आया है। जिले में नियमित अंतराल में घूसखोर अधिकारियों-कर्मचारियों की धरपकड़ होने के बावजूद सरकारी आफिसों में रिश्वत के बगैर आम आदमी का कोई काम ही नहीं होता। भ्रष्ट अधिकारी-कर्मचारी रिश्वत लेने के लिए तरह-तरह के हथकंडे अपनाकर लोगों को परेशान करते हैं। इस बेइंतहां भ्रष्टाचार और रिश्वतखोरी को मौजूदा व्यवस्था के साथ-साथ वरिष्ठ अधिकारियों का प्रत्यक्ष-परोक्ष संरक्षण प्राप्त होने से स्थिति काफी अराजकतापूर्ण हो गई है। जहां राजनीतिक सिफारिश अथवा रिश्वत के बगैर आम आदमी की कोई सुनवाई नहीं हो रही है।